एक समय था जब भारत को सोने की चिड़िया कहा जाता था। उस समय भारत के लोगों के पास बहुत ज्यादा धन सम्पदा था। लोग सोने और चांदी के वर्तनों में खाना खाते थे। लेकिन समय की धारा में सब बदल गया। कहा जाता है कि मोहम्मद गजनवी जब स्वर्ण मंदिर को लूटा था तो वहां के सोने और चांदी से बने सामानों को 1000 ऊँटो पर लादकर गजनी (अफगानिस्तान) ले गया था। इतनी धन संपदा हमारे देश में थी। विदेशी लुटेरों ने सब लूट कर अपने-अपने देश लेकर चले गए। विश्व का सबसे कीमती कोहिनूर हीरा भी हमारे भारत देश में था। जिसे अंग्रेज भारत को गुलाम बनाने के बाद अपने देश लेकर चले गए। पुराने समय के लोग सोने और चांदी को अपने घरों में बना लेते थे। उस समय जो सोने और चांदी के गहने बनते थे उसमें काफी वजन होता था। पुराने समय का जेवरात अभी की बहुत लोगों के घरों में मिल जाएगा। आज हम आपको इस आर्टिकल के माध्यम से बताएंगे कि पुराने समय में सोना कैसे बनाया (How to Make Gold) जाता था।
सोना बनाने की विधि (Sona Banane Ki Vidhi)
सबसे पहले आपको 200 ग्राम शुद्ध लोहा, 200 ग्राम पीतल और 200 ग्राम शुद्ध कांसा लेकर – इन तीनों को लेकर अलग-अलग पात्र में पिघला लेना है। पिघलाने के बाद इन तीनों को आपस में मिला लें और कढ़ाई या किसी कटोरे का रूप देकर एक पात्र बना लें। इसके बाद आप 200 ग्राम गंधक, 200 ग्राम नीला थोथा, 200 ग्राम नमक, 200 ग्राम कुमकुम और 200 ग्राम रस सिंदूर की आवश्यकता पड़ेगी इसके बाद आप 100 ग्राम शुद्ध पारा और शहद को लेकर आपस में मिला लें। मिलाने के बाद 1 लीटर स्वच्छ पानी में इसे घोल लें। उसके बाद जो तीन धातुओ वाला बर्तन बनाया है उसको चूल्हे पर रखकर उसमें यह घोल डाल दें और धीमी आंच पर पकने दें। जब पानी उबलने लगे तब सौ ग्राम पारे को रस सिंदूर में अच्छी तरह से घोट लें। घोटने पर पारे का सारा विष निकल जायेगा और वह साफ हो जाएगा। फिर उस पारे की गोली बना लें और उसके ऊपर हल्की सी सहद लगा दें। उसके बाद उसे उबलते हुए पानी में सभी सामग्रियों के बीच धीरे से रख दें। फिर इसे धीमी आंच पर पकने दें। जब दो तिहाई हिस्सा पानी जल जाए तब आप देखेंगे कि पारे की गोली धीरे धीरे हल्का सुनहरा होता जा रहा है। इस तरह आपका सोना तैयार हो जाएगा।
सोना बनाते समय सावधानी (Sona Banate Samay Savdhani)
सोना बना बनाया कोई जमीन से नहीं निकलता है। उसे बहुत सारे प्रोसेस करके बनाया जाता है। अभी सोना बनाने की नई-नई तकनीक आ गई है। जिसे गुप्त रखा गया है, लेकिन प्राचीन समय में हमारे पूर्वज इसी तरह सोना बनाते थे। आप भी बना सकते हैं। यह बहुत ही रहस्यमय और गुप्त तकनीक है। सोना बनाते समय कुछ विशेष चीजों का ध्यान रखना होगा। जैसे नीला थोथा एक प्रकार का जहर है। इसको छूने के बाद अपना हाथ अवश्य धोएं। गंधक भी कुछ इसी तरह का है। इसे भी छूने के बाद अपना हाथ अच्छी तरह साबुन से धो लें। जब इन सामग्रियों को आप पकाएं तो अपनी आंखों पर चश्मा जरूर लगा लें क्योंकि इससे आपकी आंखों को नुकसान हो सकता है। आपको बता दूं मैं कि सरकार की अनुमति के बिना कोई भी सोना नहीं बना सकता है। अगर बनाता है तो वह गैरकानूनी होगा।